बद्धियते रहितों से सबे आगोई भाईवो
बद्धियते रहितों से सबे आगोई भाईवो
जाने आई हो तु आगे दर हम राहो लागे रहे हुम रेही गलते हम कल्ब को भाईवो
तोर भाई के रागाल अब छटाई
तोर भाई के रागाल अब छटाई
तोर भाई के रागाल अब छटाई
तोर भाई के रागाल अब छटाई
तोर भाई के रागाल अब छटाई
तोर भाई के रागाल अब छटाई
तोर भाई के रागाल अब छटाई
तोर भाई के रागाल अब छटाई
तोर भाई के रागाल अब छटाई
कह दो सार हत सार ने रहे का पार पे चोही तो सीधा उड़ा दे
कुछ भी बोलते हो